मुख्यमंत्री ने कहा कि छात्रवृत्ति वितरण में किसी भी प्रकार की अनियमितताएं बर्दाश्त नहीं की जाएगी। अनियमितता करने वाले व्यक्तियों एवं संस्थाओं पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। छात्रवृत्ति का वितरण तर्कसंगत ढंग से सुनिश्चित करें। बच्चों की पढ़ाई में किसी भी प्रकार की बाधा उत्पन्न न हो।
तकनीकी का बेहतर ढंग से करें उपयोग
सीएम शिवराज ने कहा कि तकनीक का बेहतर ढंग से उपयोग सुनिश्चित करें। आज हमारे पास वह तकनीक है, जिससे किसी भी प्रकार की अनियमितता होने की संभावना नहीं है। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि छात्रवृत्ति से संबंधित समस्याओं की जांच करा ली जाए एवं किसी भी प्रकार की गड़बड़ न हो। यदि छात्रवृत्ति का भुगतान अनियमित ढंग से कर दिया गया है तो उसकी वसूली की कार्रवाई की जाए। छात्रवृत्ति स्वीकृति एवं भुगतान की प्रक्रिया को पारदर्शी एवं सरल बनाया जाए।
प्रवेश के बिना छात्रवृत्ति का भुगतान न हो
उन्होने कहा कि विद्यार्थियों के प्रवेश के लिए संबंधित विभाग पारदर्शी व्यवस्था सुनिश्चित करें। बगैर प्रवेश प्रक्रिया के छात्रवृत्ति का भुगतान नहीं करें। निर्धारित प्रक्रिया का पालन करते हुए जिन छात्रों का प्रवेश होगा, उन्हें छात्रवृत्ति प्रदान की जाए। छात्रवृत्ति के लिए बनाए गए निर्धारित कैलेण्डर का पालन सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने छात्रवृत्ति दरों के युक्तियुक्तकरण के संबंध में भी निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि महाविद्यालयों के विभिन्न शुल्क नियमानुसार ही लिए जाएँ। विभिन्न विभागों के बीच मापदण्डों में भिन्नता को कम किया जाए।
इस बैठक में जनजातीय कार्य, अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री मीना सिंह, मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस, प्रमुख सचिव अनुसूचित जाति कल्याण और जनजातीय कार्य पल्लवी जैन गोविल तथा संबंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।