दरअसल, सर्वोच्च न्यायालय और राष्ट्रीय हरित अभिकरण के निर्देश के बाद मध्यप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय कार्यालय जबलपुर से सामने आई वायु गुणवत्ता रिपोर्ट को देखते हुए डा. इलैयाराजा टी ने दिवाली के दिन फोड़े जाने वाले पटाखों को लेकर आदेश जारी किए है। जानकारी के मुताबिक, जारी किए गए आदेश में बेरियम साल्ट, एंटीमनी, लिथियम, मर्करी, आर्सेनिक, लेड एवं स्ट्रोटियम क्रोमेट जैसे खतरनाक रसायनों ने बने हुए पटाखों के फोड़ने के साथ क्रय-विक्रय, भंडारण पर प्रतिबंधित लगाया गया है। साथ ही तेज आवाज और 125 डेसीबल से ज्यादा तीव्रता वाले पटाखों पर भी प्रतिबंधित लगा दिया गया है।
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इन क्षेत्रों में 100 मिटेर तक नहीं फोड़ सकते पटाखे –
जारी आदेश में ये भी बताया गया है कि ई-कामर्स कंपनियों के साथ निजी व्यक्तियों द्वारा ऑनलाइन पटाखों की बिक्री और बिना लइसेंस के बिक्री पर भी पूरी तरह से रोक लगा दी गई है। इसके अलावा अस्पताल, स्वास्थ्य केंद्र,नर्सिंग होम, शिक्षण संस्थान, न्यायालयों, धार्मिक स्थल जैसे क्षेत्रों में भी पटाखे नहीं फोड़े जा सकते हैं। इस पर भी पूर्णत रोक लगा दी गई है। करीब 100 मिटेर तक इन क्षेत्रों में पटाखे नहीं फोड़ सकते हैं अगर फोड़े गए तो उस पर कार्यवाई की जाएगी।
सिर्फ इतने घंटे ही फोड़ सकेंगे पटाखे –
आपको बता दे, दिवाली वाले दिन जबलपुर में लोग सिर्फ 2 घंटे ही पटाखे फोड़ सकेंगे। उसके बाद या उससे पहले फोड़ने पर कार्यवाई की जाएगी। आदेश में इसको लेकर कहा गया है कि आठ बजे से पहले और दस बजे के बाद पटाखे फोड़ने की अनुमति नहीं रहेगी। ये आदेश सभी जिले के लिए लागू किया गया है। उल्लंघन करने वालों के खिलाफ विस्फोटक नियमों तथा भारतीय दंड विधान की धारा 188 के चलते कार्यवाई की जाएगी।