जबलपुर, संदीप कुमार। जबलपुर के निजी अस्पताल के हार्ट सेंटर में मरीजों को रोटा एबलेशन थेरेपी से एंजियोप्लास्टी की गई। इन मरीजों को सामान्य एंजियोप्लास्टी न हो पाने बायपास सर्जरी कराने की आवश्यकता थी। लीलावती हॉस्पिटल मुंबई के वरिष्ठ कार्डियोलॉजिस्ट डॉ आनंद राव,जबलपुर के कार्डियोलॉजिस्ट डॉ दिलीप तिवारी तथा डॉ अमजद अली ने, हार्ट के ऐसे मरीजों जिनमें खून की नली में कैल्शिफिकेशन हो जाता है,कैल्शियम जमा हो जाता है,जिससे सामान्य एंजियोप्लास्टी नहीं हो पाती है या बलून नहीं डाला जा सकता है उनकी आधुनिकतम रोटा एब्लेशन थेरेपी द्वारा कैल्शिफाइड प्लॉक को तोड़ कर सफलता पूर्वक एंजियोप्लास्टी की।
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रोटा एबलेशन थेरेपी में हृदय रोग विशेषज्ञ द्वारा जो कैथेटर उपयोग किया जाता है, उसके टिप में रोटेट होने वाली या घूमने वाली, विशेष प्रकार की ब्लेड जिसे डायमंड बर कहते हैं, लगी होती है। जिससे खून की नली या संबंधित आर्टरी में, जमा कैल्शियम को तोड़कर, एंजियोग्राफी और एंजियोप्लास्टी के लिए रास्ता बनाया जाता है, वहां जमा कैल्शियम को तोड़कर निकाल लिया जाता है, जिससे एंजियोप्लास्टी आसानी से हो जाती है और मरीज को कोई परेशानी नहीं होती। उससे हार्ट अटैक के मरीज को न केवल बचाया जा सकता है बल्कि उसकी बायपास सर्जरी की जगह एंजियोप्लाटी करके उसे ठीक किया जा सकता है। रोटा एबलेशन थेरेपी जबलपुर तथा आसपास के मरीजों को बहुत राहत दे रही है क्योंकि इससे जरूरत मंद मरीजों को बायपास सर्जरी से बचाया जा सकता है। जिन मरीजों को रोटा एबलेशन थैरेपी से एंजियोप्लास्टी कराने की ज़रूरत है उन्हे अब नागपुर या मुंबई नहीं जाना पड़ रहा है।