भोपाल में है देश का सबसे अलग स्कूल, यहां लड़कियों के सरनेम की जगह इस्तेमाल होते है ये शब्द

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भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्यप्रदेश के भोपाल (Bhopal) में देश का एक सबसे अलग स्कूल (School) है। इस स्कूल में लड़कियों को काफी ज्यादा सम्मान दिया जाता है। खास बात ये है कि इस स्कूल में लड़कियों को लेकर एक अलग ही नियम बनाए गए है। दरअसल, स्कूल में लड़कियों के सरनेम का इस्तेमाल नहीं किया जाता है। ये इसलिए क्योंकि यहां स्कूल में लड़कियों की जाति को छुपाने के लिए उनके नाम के पीछे लगा हुआ सरनेम का इस्तेमाल नहीं किया जाता है।

सरनेम की जगह पहचान के लिए कुछ अलग शब्दों का प्रयोग किया जाता है जिससे बच्ची की पहचान की जा सके। इतना ही नहीं अगर किसी बच्ची का नाम एक जैसा है तो उनके नाम के पीछे कुछ शब्द अलग से जोड़ दिए जाते हैं। उनसे ही स्कूल में उन्हें जाना जाता है। साथ ही इस स्कूल में लड़कियों को शक्ति स्वरूपा के तौर पर जाना जाता है। इसके अलावा अभी नवरात्री के दौरान स्कूल में नौ दिनों तक पूजा की जाती है ऐसे में पूरे स्कूल में भक्तिमय माहौल रहता है।


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Ayushi Jain

मुझे यह कहने की ज़रूरत नहीं है कि अपने आसपास की चीज़ों, घटनाओं और लोगों के बारे में ताज़ा जानकारी रखना मनुष्य का सहज स्वभाव है। उसमें जिज्ञासा का भाव बहुत प्रबल होता है। यही जिज्ञासा समाचार और व्यापक अर्थ में पत्रकारिता का मूल तत्त्व है। मुझे गर्व है मैं एक पत्रकार हूं। मैं पत्रकारिता में 4 वर्षों से सक्रिय हूं। मुझे डिजिटल मीडिया से लेकर प्रिंट मीडिया तक का अनुभव है। मैं कॉपी राइटिंग, वेब कंटेंट राइटिंग, कंटेंट क्यूरेशन, और कॉपी टाइपिंग में कुशल हूं। मैं वास्तविक समय की खबरों को कवर करने और उन्हें प्रस्तुत करने में उत्कृष्ट। मैं दैनिक अपडेट, मनोरंजन और जीवनशैली से संबंधित विभिन्न विषयों पर लिखना जानती हूं। मैने माखनलाल चतुर्वेदी यूनिवर्सिटी से बीएससी इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में ग्रेजुएशन किया है। वहीं पोस्ट ग्रेजुएशन एमए विज्ञापन और जनसंपर्क में किया है।