लोहड़ी पर हिमाचल के शासकीय कर्मचारी और पेंशनरों बड़ा तोहफा देने से पूर्व मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने अधिकारियों को संबोधित करते हुए इसकी जानकारी दी। सीएम ने कहा था कि कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना का लाभ मिलना चाहिए। पुरानी पेंशन योजना उन्हें सामाजिक सुरक्षा प्रदान करती है और उनकी सरकार कर्मचारियों के सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने के हित में है।
CM ने पूर्व की सरकारों पर लगाए गंभीर आरोप
इतना ही नहीं मुख्यमंत्री ने पूर्व की सरकारों पर गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि 75000 करोड़ रूपए का ऋण लेने के बावजूद उन्होंने सरकारी कर्मचारियों को 5000 करोड़ रूपए के एरियर तक का भुगतान नहीं किया है, हिमाचल की सरकार में पूर्व में अव्यवस्था रही है।
वही सीएम ने कहा है कि कर्मचारी किसी भी तरह की चिंता ना करें। पुरानी पेंशन योजना पर कैबिनेट मीटिंग में फैसला लिया जाएगा। वही शुक्रवार से पुरानी पेंशन के पैसे का भी इंतजाम किया जाएगा। हालांकि इसे किस तरह से भुगतान करना है। इसके लिए प्रतिनिधियों के साथ बैठकर निर्णय करना आवश्यक होगा।
पुरानी पेंशन योजना को लेकर ब्लू प्रिंट तैयार
इससे पूर्व कांग्रेस सरकार के मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना ने पूर्व में ही कहा था कि पुरानी पेंशन योजना को लेकर ब्लू प्रिंट तैयार कर लिया गया है। वर्तमान के नियम के तहत नई पेंशन योजना के तहत शामिल सभी कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना के दायरे में लाए जाने की तैयारी की गई है।
NPS बनाम OPS
1 जनवरी 2004 से कर्मचारियों को नई पेंशन योजना के दायरे में रखा गया है। जिसमें से कर्मचारी द्वारा पेंशन निधि के लिए अपने वेतन का 14% जबकि सरकार द्वारा 10% योगदान किया जाता है। वही पुरानी पेंशन योजना की बात करें तो इस योजना में कर्मचारियों को स्थायित्व प्राप्त होता है। उनके रिटायरमेंट से पूर्व उन्हें मिलने वाले आखिरी वेतन का 50% उन्हें पेंशन के रूप में उपलब्ध कराया जाता है। अब शुक्रवार को कैबिनेट की मीटिंग में हिमाचल के कर्मचारियों को सरकार बड़ी राहत देने की तैयारी में है।
विधानसभा से पहले पुरानी पेंशन योजना एक बड़ा मुद्दा बन कर उभरी थी
इससे पूर्व हिमाचल में चुनाव से पहले पुरानी पेंशन योजना एक बड़ा मुद्दा बन कर उभरी थी। विधानसभा चुनाव में कांग्रेस द्वारा पुरानी पेंशन योजना को लागू करने का वादा किया गया था। वहीं अब मुख्यमंत्री का कहना है कि कर्मचारियों की सामाजिक सुरक्षा और उनके आत्मसम्मान के संरक्षण के लिए पुरानी पेंशन योजना को लागू किया जाएगा। पेंशन उनका आत्मसम्मान होती है। इसकी वजह से माता-पिता बच्चों पर आश्रित नहीं रहते हैं। ऐसे में पेंशन उनकी जरूरतें पूरी करती है।